Delhi: लता मंगेशकर बेशक आज हमारे बीच नहीं हैं लेकिन उनसे जुड़ी खास यादें हमेशा हमारे साथ रहेंगी। लता दीदी ने म्यूज़िक के क्षेत्र में अपनी अलग पहचान बनाई है। लता दीदी को स्वर कोकिला भी कहा जाता था। वहीं उनसे जुड़े कई किस्से हैं जो आज भी सोशल मीडिया पर काफी तेजी से वायरल होते हैं। कुछ किसे तो ऐसे हैं जिन्हें खुद लता दीदी ने ही मीडिया से बातचीत के दौरान बताया था।
आज हम आपको लता दीदी से जुड़ा एक ऐसा ही खास किस्सा बताने जा रहे हैं जिसमें लता दीदी अपने पहले शो के दौरान ही अपने पिता की गोद में सर रखकर सो गई थी। वहीं एक किस्सा ऐसा भी है जब लता दीदी अपनी माँ को बर्तन के स्टैंड पर चढ़कर गाना सुनाया करती थी।
रसोई में माँ को सुनाती थी गाना
दरअसल एक बार लता दीदी ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया था कि उनके पिता की ड्रामा कंपनी थी। ऐसे में उनके घर में लोगों का आना जाना और गाना बजाना चलता ही रहता था। ऐसे में लता दीदी भी सबको सुनती रहती थी लेकिन कभी भी अपने पिता के सामने नहीं गाया करती थी। लता दीदी के मुताबिक उनके घर का रसोई काफी बड़ा था और वहाँ एक बर्तन रखने का स्टैंड भी था।
तब लता दीदी उस स्टैंड पर चढ़कर गाया करती थी और उनकी माँ भी वहीं काम कर रही होती थी। तब लता दीदी की माँ उनसे कहती थी कि “तू मेरा सिर मत खा चली जा यहाँ से” वहीं लता दीदी के पिता कई लोगों को संगीत भी सिखाते थे ऐसे में एक बार एक व्यक्ति गलत गाना गा रहा था तब लता दीदी ने ही उसे ठीक किया। लता दीदी के पिता भी उनका गाना अब सुन चुके थे जिसके बाद उन्होंने लता दीदी को सिखाना भी शुरू किया।
पहले शो के दौरान पिता की गोद में सो गई थी लता दीदी
दरअसल एक बार लता दीदी के पिता का किसी जगह कार्यक्रम था। ऐसे में लता दीदी ने अपने पिता से कहा कि वे भी कार्यक्रम में गाना चाहती हैं। ऐसे में उनके पिता ने पूछा कि वे कौन सा राग गाएँगी। तब लता दीदी ने खांबवती बोला। लता दीदी ने ये राग गाया और सभी को पसंद आया। वहीं जब लता दीदी के पिता गा रहे थे तो वे अपने पिता की गोद में ही सो गई थी।